बिक्री का आंकड़ा 2500 करोड़ के पार पहुंचने की उम्मीद
नक्काशी एवं जड़ाऊ उत्पाद भी लिए जा रहे हाथों-हाथ
मूमल नेटवर्क, जयपुर। राजस्थान के हस्तशिल्प उत्पादों के दाम बढऩे के बावजूद दीपावली व क्रिसमस के त्यौहारी सीजन में विदेशी और घरेलू बाजार में इन उत्पादों की मांग काफी बढ़ी है। उत्पादों को उम्मीद से बेहतर रिस्पांस मिला है। इसका कारण शिल्प की नई डिजाइंस व अनूठी निर्माण शैली तो है ही, महंगाई के बावजूद नियंत्रित कीमतें भी आकर्षण का कारण हैं। ऐसे में गत वर्ष की तुलना में इस साल बिक्री में 300 करोड़ से अधिक का इजाफा हुआ है। बिक्री का आंकड़ा 2500 करोड़ के पार पहुंचने की उम्मीद है। नक्काशी एवं जड़ाऊ हस्तशिल्प को उत्पादों को बाजार में हाथों-हाथ लिया जा रहा है।
घरेलू मार्केट में भी पैठ
सस्ते व अनूठे उत्पादों की बदौलत विदेशी बाजार में दम भर रहा राजस्थान का हैंडीक्राफ्ट कारोबार अब घरेलू मार्केट में भी पैठ बना रहा है। विदेशी बाजार में वुडन, टैक्सटाइल, नक्काशी, ब्लू पॉटरी, मार्बल, टेराकोटा, ग्लास वेयर व लाख के हैंडीक्राफ्ट उत्पाद के साथ घरेलू सजावट व फर्नीचर से जुड़े उत्पाद डिजाइनदार बेड, सोफा सेट, कुर्सियां, मेज, वाल पेंटिंग, मैटल व लकड़ी पर बारीक चित्रकारी कर बनाई गई घडिय़ां, फूलदान, पेड़ की छाल से बने कलात्मक फूल और चांदी की बारीक जड़ाऊ शो पीस की मांग अधिक है।
घरेलू बाजार में भी सजावट के लिहाज से इन उत्पादों की मांग काफी बढ़ी है। फेडरेशन ऑफ राजस्थान एक्सपोर्टर्स के अध्यक्ष राजीव अरोड़ा के अनुसार त्यौहारी सीजन में घरेलू सजावट से जुड़े हैंडीक्राफ्ट उत्पादों को उम्मीद से बेहतर रिस्पांस मिला है। नक्काशी एवं जड़ाऊ हैंडीक्राफ्ट उत्पादों को भी घरेलू बाजार में हाथों-हाथ लिया जा रहा है।
दाम 20 फीसदी से अधिक बढ़ा
हैंडीक्राफ्ट उद्यमी व सीआईआई जयपुर शाखा के अध्यक्ष दिलीप बैद ने बताया की हैंडीक्राफ्ट उत्पादों की मांग के पीछे इनकी डिजाइन व अनूठी निर्माण शैली तो है ही, कम कीमतें भी आकर्षण का कारण हैं। लेकिन पिछले कुछ अर्से से सरकारी रियायतों के बावजूद यह उद्योग बढ़े हुए लागत भार से त्रस्त है। हैंडीक्राफ्ट उत्पाद निर्माताओं व निर्यातकों ने इस सीजन में दाम 20 फीसदी से अधिक बढ़ा की बढ़ोतरी कर दी है। विदेशी बाजार से भी नए ऑर्डर बढ़ी कीमतों पर ही लिए जा रहे हैं। इसके बावजूद गत वर्ष की तुलना में इस साल बिक्री में 300 करोड़ से अधिक का इजाफा हुआ है।
बिक्री का आंकड़ा 2500 करोड़ के पार
निर्माताओं को बिक्री का आंकड़ा 2500 करोड़ के पार पहुंचने की उम्मीद है। इसमें से करीब 1500-1600 करोड़ रुपये का निर्यात हो रहा है। फैडरेशन ऑफ राजस्थान हैण्डीक्राफ्ट एक्सपोर्ट (फॉरहेक्स) के अध्यक्ष जसवंत मील का कहना है कि पिछले कुछ अरसे में कच्चे माल कीमतों में जबरदस्त उछाल रहा है। ऐसे में अंतिम विकल्प कीमतों में बढ़ोतरी है। कीमतें बढऩे से मांग पर आंशिक असर पड़ सकता है। लेकिन जिस हिसाब से इन उत्पादों की लोकप्रियता बढ़ रही है, इसकी संभावना कम है।
नक्काशी एवं जड़ाऊ उत्पाद भी लिए जा रहे हाथों-हाथ
मूमल नेटवर्क, जयपुर। राजस्थान के हस्तशिल्प उत्पादों के दाम बढऩे के बावजूद दीपावली व क्रिसमस के त्यौहारी सीजन में विदेशी और घरेलू बाजार में इन उत्पादों की मांग काफी बढ़ी है। उत्पादों को उम्मीद से बेहतर रिस्पांस मिला है। इसका कारण शिल्प की नई डिजाइंस व अनूठी निर्माण शैली तो है ही, महंगाई के बावजूद नियंत्रित कीमतें भी आकर्षण का कारण हैं। ऐसे में गत वर्ष की तुलना में इस साल बिक्री में 300 करोड़ से अधिक का इजाफा हुआ है। बिक्री का आंकड़ा 2500 करोड़ के पार पहुंचने की उम्मीद है। नक्काशी एवं जड़ाऊ हस्तशिल्प को उत्पादों को बाजार में हाथों-हाथ लिया जा रहा है।
घरेलू मार्केट में भी पैठ
सस्ते व अनूठे उत्पादों की बदौलत विदेशी बाजार में दम भर रहा राजस्थान का हैंडीक्राफ्ट कारोबार अब घरेलू मार्केट में भी पैठ बना रहा है। विदेशी बाजार में वुडन, टैक्सटाइल, नक्काशी, ब्लू पॉटरी, मार्बल, टेराकोटा, ग्लास वेयर व लाख के हैंडीक्राफ्ट उत्पाद के साथ घरेलू सजावट व फर्नीचर से जुड़े उत्पाद डिजाइनदार बेड, सोफा सेट, कुर्सियां, मेज, वाल पेंटिंग, मैटल व लकड़ी पर बारीक चित्रकारी कर बनाई गई घडिय़ां, फूलदान, पेड़ की छाल से बने कलात्मक फूल और चांदी की बारीक जड़ाऊ शो पीस की मांग अधिक है।
घरेलू बाजार में भी सजावट के लिहाज से इन उत्पादों की मांग काफी बढ़ी है। फेडरेशन ऑफ राजस्थान एक्सपोर्टर्स के अध्यक्ष राजीव अरोड़ा के अनुसार त्यौहारी सीजन में घरेलू सजावट से जुड़े हैंडीक्राफ्ट उत्पादों को उम्मीद से बेहतर रिस्पांस मिला है। नक्काशी एवं जड़ाऊ हैंडीक्राफ्ट उत्पादों को भी घरेलू बाजार में हाथों-हाथ लिया जा रहा है।
दाम 20 फीसदी से अधिक बढ़ा
हैंडीक्राफ्ट उद्यमी व सीआईआई जयपुर शाखा के अध्यक्ष दिलीप बैद ने बताया की हैंडीक्राफ्ट उत्पादों की मांग के पीछे इनकी डिजाइन व अनूठी निर्माण शैली तो है ही, कम कीमतें भी आकर्षण का कारण हैं। लेकिन पिछले कुछ अर्से से सरकारी रियायतों के बावजूद यह उद्योग बढ़े हुए लागत भार से त्रस्त है। हैंडीक्राफ्ट उत्पाद निर्माताओं व निर्यातकों ने इस सीजन में दाम 20 फीसदी से अधिक बढ़ा की बढ़ोतरी कर दी है। विदेशी बाजार से भी नए ऑर्डर बढ़ी कीमतों पर ही लिए जा रहे हैं। इसके बावजूद गत वर्ष की तुलना में इस साल बिक्री में 300 करोड़ से अधिक का इजाफा हुआ है।
बिक्री का आंकड़ा 2500 करोड़ के पार
निर्माताओं को बिक्री का आंकड़ा 2500 करोड़ के पार पहुंचने की उम्मीद है। इसमें से करीब 1500-1600 करोड़ रुपये का निर्यात हो रहा है। फैडरेशन ऑफ राजस्थान हैण्डीक्राफ्ट एक्सपोर्ट (फॉरहेक्स) के अध्यक्ष जसवंत मील का कहना है कि पिछले कुछ अरसे में कच्चे माल कीमतों में जबरदस्त उछाल रहा है। ऐसे में अंतिम विकल्प कीमतों में बढ़ोतरी है। कीमतें बढऩे से मांग पर आंशिक असर पड़ सकता है। लेकिन जिस हिसाब से इन उत्पादों की लोकप्रियता बढ़ रही है, इसकी संभावना कम है।
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